टकसाल सिनेमा शूटआउट में पूर्व सांसद धनंजय सिंह ने कहा विनीत सिंह नहीं थे घटना में शामिल
वाराणसी,संकल्प सवेरा। साल 2002 में धनंजय सिंह जौनपुर की रारी सीट के विधायक हुआ करते थे। उस समय वाराणसी के टकसाल सिनेमा के सामने से गुजरते समय हुए बनारस के पहले ओपन शूटआउट में धनंजय के गनर और उनके सचिव समेत चार लोग घायल हुए थे। इस मामले में उस समय कैंट थाने में अभय सिंह के विरुद्ध नामजद और 5-6 अज्ञात के विरुद्ध मुकदमा दर्ज किया गया था।
इसके बाद इसमें पुलिस ने गैंगेस्टर की धारा बढ़ाई थी। इसी मामले में सोमवार को धनंजय सिंह वाराणसी के एमपी-एमएलए कोर्ट पेशी पर पहुंचे। यहां उन्होंने अपनी गवाही में इस प्रकरण में विनीत सिंह के होने से इंकार कर दिया।
इस सम्बन्ध में एमपी-एमएलए कोर्ट वाराणसी के सरकारी वकील एडीजीसी क्रिमनल ज्योति शंकर उपाध्याय ने बताया कि धंनजय सिंह की पेशी आज मुकदमा एक चल रहा है एमपी/एमएलए कोर्ट वाराणसी में गैंगेस्टर का विनीत सिंह के खिलाफ उसी में थी। आज वो आये और उन्होंने गवाही दी है।
एडीजीसी क्रिमनल ज्योति शंकर उपाध्याय ने बताया कि साल 2002 में धनंजय सिंह के ऊपर गोली चली थी टकसाल सिनेमा के सामने, जिसमें इन्होने अभय सिंह और चार-पांच व्यक्तियों के ऊपर कैंट थाने मुकदमा दर्ज करवाया था। उस मुकदमें में ये वादी हैं और इस मुकदमे में विवेचना के बाद पुलिस ने गैंगेस्टर की कार्रवाई की थी।
एडीजीसी क्रिमनल ने बताया कि इस मुक़दमे में 1 नामजद और 5 से 6 अज्ञात थे जिसमे धीरे धीरे नाम सामने आये सबकी इन्होने तस्दीक की।
एडीजीसी क्रिमनल ज्योति शंकर उपाध्याय ने बताया कि इन्होने विनीत सिंह इन्होने कहा की वो नहीं थे जिला प्रशासन और पुलिस ने नाम जबदस्ती बढ़ा दिया है। इन्होने सबको पहचाना पर अपनी आज दी गयी गवाही में विनीत सिंह का घटना में होने से इंकार कर दिया।
बता दें कि बनारस के पहले ‘ओपन शूटआउट’ के तौर पर पहचाने जाने वाले नदेसर टकसाल शूटआउट में 5 अक्टूबर 2002 को बनारस से गुजर रहे धनंजय के काफिले पर हमला हुआ था। टकसाल सिनेमा के सामने हुये इस गैंगवॉर में दिन-दहाड़े सड़कों पर दोनों तरफ से गोलियां चलीं थीं।
हमले में धनंजय के गनर और उनके सचिव समेत चार लोग घायल हुए थे।तब जौनपुर के रारी के विधायक के तौर पर धनंजय ने इस मामले में अभय सिंह के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज करवाया था