अचानक होती मौतों का आखिर ज़िम्मेदार कौन ? जाने क्या बोले अचानक होने वली मौतों पर मशहूर चिकित्सक विजय नाथ मिश्रा
संकल्प सवेरा। शादी में नाचते-नाचते फूफा की मौत हो गई। बस चलाते हुए ड्राइवर की हार्ट अटैक से मौत हो गई। जिम ट्रेनर की हार्ट अटैक से मौत हो गई। शादी की खुशियाँ अचानक उस समय मातम में बदल गई जब एक युवती की अपनी शादी में ही अचानक हार्ट अटैक आने से मौत हो गई। गरबा करते हुवे नवजवान की मौत हो गई। राम लीला में मंच पर खड़े कलाकार की अचानक हार्ट अटैक आने से मौत हो गई
ऐसे समाचारों को आप लगभग रोज़ ही पढ़ रहे होंगे।
ऐसे समाचार हमारे मन को झकझोर कर रख देते है। अचानक कार्डिक अरेस्ट होना और जब तक लोग समझे क्या हुआ तब तक मौत हो जाने से रूह काँप जा रही है। ढेर सारी बाते आपने मनपसंद चैनल अपनी बेमतलब की डिबेट में कर रहे है। आपके पसंदीदा अख़बार ने तो खबरों से खुद को भर रखा है।
मंचो से नेताओं के द्वारा बाते अलग अलग मुद्दों पर हो रही है। मगर कही इस मुद्दे पर बात ही नही हो रही है कि ये अचानक से मौतों का क्रम बढ़ कैसे गया है।
चिकित्सक इस पर कुछ बोलने को तैयार ही नही है। किसी से अगर बात करे तो बात यही निकल कर सामने आती है कि एक अध्यन की ज़रूरत है। अब समझ में नही आता कि आखिर अध्यन कब और कैसे होगा और कौन करेगा। चिकित्सा जगत खामोश है।
गली नुक्कड़ की सियासत ने इसकी ज़िम्मेदारी कई जगह देना शुरू कर दिया है। मगर माकूल जवाब किसी के पास नही है कि आखिर ये अचानक कार्डिक अरेस्ट के केस अपने भारत में कैसे बढ़ रहे है और क्या प्रिकर्षन की ज़रूरत है।
 
	    	 
                                













