आवासी परिसर के छात्र कर्मचारी शिक्षक दहशत में
प्रभावित होगी विश्वविद्यालय की शिक्षण व्यवस्था
जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय परिसर में बनने वाला कोरोना का अस्थाई हॉस्पिटल में शिक्षक कर्मचारी छात्रों ने विरोध जताया है । परिसर में दहशत का माहौल बन रहा है।शिक्षण कार्य पर असर पड़ेगा। लोगों ने जिला प्रशासन अन्यत्र कहीं हॉस्पिटल बनाने की मांग की है।
बता दें कि जिला प्रशासन के अधिकारी पूर्वांचल विश्वविद्यालय के आवासीय परिसर में कोरोना मरीजों के लिए अस्थाई हॉस्पिटल बनाने के लिए पीजी हॉस्टल का चयन किया। जिसकी जानकारी होते ही विश्वविद्यालय परिसर में विरोध के स्वर उठने लगे। कर्मचारी छात्र शिक्षक सभी ने विरोध जताया। कहां की अभी विश्वविद्यालय की परीक्षाएं मूल्यांकन , प्रैक्टिकल परीक्षाएँ सभी अधर में पड़ी हुई है। हॉस्पिटल बनाने से छात्र परिसर में नहीं रुकेंगे। हॉस्टल खाली कर सकते हैं। शिक्षक मूल्यांकन के लिए नहीं आयेगे। आवासीय परिसर में रहने वाले कर्मचारियों के परिवार दहशत में हैं ।उन्होंने आवास छोड़ने तक की चेतावनी दे दी। साथ ही प्रशासन से मांग की है कि हॉस्पिटल को अन्यत्र कहीं बनाया जाए। जो सहयोग होगा किया जाएगा।
परिसर में हॉस्पिटल बनना उचित नहीं है। 59 हजार की भर्ती में सैकड़ों बच्चे रोज डिग्री माइग्रेशन के लिए परिसर में आते हैं। 500 से अधिक कर्मचारी हैं। खबर लगते ही सब दहशत में हैं। हम लोग इसका विरोध करते हैं। वह किसी कॉलेज में अपना व्यवस्था बनाएं।
रामजी सिंह
अध्यक्ष कर्मचारी संघ
परिसर एक बड़ी आबादी व शैक्षणिक वातावरण समूह का मंच है ।इसमें छात्र शिक्षक कर्मचारी अभिभावक व बैंकों में लोगों का आना जाना लगा रहता है । हॉस्पिटल बनाए जाने से लोग दहशत में हैं। हम इसका विरोध करते हैं।
डॉ स्वतंत्र कुमार
महामंत्री कर्मचारी संघ
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परिसर में हॉस्पिटल बना तो सभी छात्र परिसर का बहिष्कार करेंगे और हॉस्टल को खाली कर देंगे।पठन पाठन कार्य ठप रहेगा। कुलपति को चाहिए कि छात्र हित में हास्पिटल के लिए परिसर न दे
योगेश यादव
अध्यक्ष
शोध छात्र संघ पीयू
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आवासीय परिसर में अस्पताल बनाये जाने की निंदा शासन को ज्ञापन
जौनपुर।वीर बहादुर सिंह पूर्वान्चल विश्वविद्यालय के आवासीय परिसर में पीजी छात्रावास को कोविड L-1 अस्पताल बनाये जाने के जिलाधिकारी के अधिग्रहण कार्यवाही के खिलाफ आवासीय शिक्षक संघ ने विरोध जताया है ।
परिसर शिक्षक संघ के अध्यक्ष प्रो बीबी तिवारी और महामंत्री डॉ राजकुमार ने कहा है कि विश्वविद्यालय के अनुरोध को दरकिनार करते हुए जिलाधिकारी के एक तरफ़ा कार्यवाही से परिसर वासियों, कर्मचारियों,छात्रों एवं स्थानीय जनता में रोष व्याप्त है । जनपद में सीमा पर ऐसे तमाम अस्पताल, महाविद्यालय एवं अन्य संस्थान हैं ।जिनके परिसर आवासीय प्रवृति के नहीं हैं उन्हें ऐसा अस्पताल बनाया जा सकता है। जबकि विश्वविदयालय एक आवासीय परिसर है जिसमें लगभग 5000 लोग प्रवास करते है । अस्पताल बन जाने से परिसर वासियों, कर्मचारियों एवं छात्रों के बीच संक्रमण का खतरा सदा बना रहेगा। विश्वविद्यालय द्वारा इस विषय में उच्च स्तरीय प्रत्यावेदन उत्तर प्रदेश शासन को भी भेजा गया है ।
कोविड अस्पताल बन जाने से आगामी सत्र में प्रवेश, वर्तमान समय की परीक्षा, मूल्यांकन एवं परीक्षा परिणाम प्रभावित होंगे जिसकी जिम्मेदारी जिला प्रशासन की होगी ।